
दिल्ली के उप मुख्यमंत्री व शिक्षा मंत्री मनीष सिसोदिया ने नई शिक्षा नीति को लेकर बहुत बड़ी बात कही है। मनीष सिसोदिया ने कहा कि नई शिक्षा नीति ‘हाइली रेगुलेटेड और पुअरली फंडेड‘ है।
नई शिक्षा नीति एक दूरदर्शी दस्तावेज- सिसोदिया
दिल्ली के उप मुख्यमंत्री व शिक्षा मंत्री मनीष सिसोदिया ने नई शिक्षा नीति को लेकर बहुत बड़ी बात कही है। मनीष सिसोदिया ने नई शिक्षा नीति को लेकर कहा कि देश 34 वर्षों से इसका इंतजार कर रहा था, अब ये हमारे सामने है, यह एक दूरदर्शी दस्तावेज है, जो आज की शिक्षा प्रणाली की खामियों को स्वीकार करता है। गौरतलब है कि वर्तमान में हमारे देश में जो शिक्षा नीति लागू है, वह वर्ष 1986 में तैयार की गई थी, इसे 1992 में संशोधित किया गया था।
नई शिक्षा नीति ‘हाइली रेगुलेटेड और पुअरली फंडेड‘– सिसोदिया
हालांकि, साथ ही मनीष सिसोदिया ने कहा कि नई शिक्षा नीति में दो खामियां हैं। पहली यह है कि ये अपनी पुरानी समझ, परंपराओं के बोझ से दबी है और उससे मुक्त नहीं हो पाई है। दूसरा ये पॉलिसी भविष्य की जरूरतों की बात तो करती है, लेकिन लोगों तक कैसे पहुंचेगी इसे लेकर भ्रम है। उन्होंने कहा कि नई शिक्षा नीति ‘हाइली रेगुलेटेड और पुअरली फंडेड‘ है। ध्यान रहे की केंद्र की मोदी सरकार ने 29 जुलाई को तीन दशक के लंबे अंतराल के बाद बड़ा फैसला लेते हुए नई शिक्षा नीति लागू कर दी, साथ ही मानव संसाधन विकास मंत्रालय का नाम भी बदलकर शिक्षा मंत्रालय कर दिया।